जीएचआई का कुल स्कोर 100 पॉइंट होता है, जिसके आधार पर किसी देश की भूख की गंभीरता की स्थिति दिखती है। यानी के अगर किसी देश का स्कोर ज़ीरो है तो उसकी अच्छी स्थिति है और अगर किसी का स्कोर 100 है तो उसकी बेहद ख़राब स्थिति है।

Pollution In Diwali: दिल्ली-NCR समेत कई शहरों में गंभीर प्रदूषण, ताजमहल घने कोहरे की चादर से ढका

By: abp news | Updated at : 06 Nov 2021 12:42 PM (IST)

Pollution In Diwali: दिवाली के एक दिन बाद दिल्ली-एनसीआर समेत कई जगहों पर शुक्रवार को वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) बहुत ज्यादा खराब हो गई है. दिल्ली-एनसीआर, आगरा और पश्चिमी उत्तर प्रदेश में कई जगहों पर वायु गुणवत्ता सूचकांक 'गंभीर' के निशान को छू गया. प्रदूषण का स्तर ऐसा था कि ताजमहल घने कोहरे की चादर से ढका हुआ था, जिससे यह 100 मीटर की दूरी से भी मुश्किल एमएसीडी बीबी संकेतक की उपस्थिति से दिखाई देता था.

आगरा में AQI गंभीर श्रेणी में दर्ज

केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (CPCB) की निगरानी में शुक्रवार को सुबह 10 बजे 419 और दोपहर 2 बजे 432 को छूने वाले सूचकांक के साथ आगरा में एक्यूआई को "गंभीर" श्रेणी के रूप में दर्ज किया गया था. पिछले साल, आगरा में दिवाली के अगले दिन एक्यूआई 347 (बहुत खराब) दर्ज किया गया था. आगरा में नवंबर की शुरुआत से ही 'बहुत खराब' और 'खराब' वायु गुणवत्ता देखी जा रही है. 1 नवंबर को AQI का स्तर 327 , 2 नवंबर को 300 , 3 नवंबर को 289 और जबकि 4 नवंबर को AQI का स्तर 280 रहा.

PMI: फरवरी में बढ़ीं विनिर्माण क्षेत्र की गतिविधियां, 54.9 पर पहुंचा पीएमआई इंडेक्स

By: पीटीआई- भाषा | Updated at : 02 Mar 2022 04:18 PM (IST)

पीएमआई इंडेक्स (फाइल फोटो)

PMI Data in February : उत्पादन और नए आर्डर की संख्या बढ़ने से देश के विनिर्माण क्षेत्र की गतिविधियां फरवरी माह के दौरान बढ़ी हैं. मांग की अनुकूल स्थिति से इन गतिविधियों को समर्थन मिला है. बुधवार को जारी मासिक सर्वेक्षण में यह जानकारी दी गई है. आएचएस मार्किट भारत विनिर्माण खरीद प्रबंधक सूचकांक (PMI) फरवरी माह में बढ़कर 54.9 अंक पर पहुंच गया. वहीं, एक महीना पहले जनवरी में यह 54.0 पर था.

जानें क्या है 50 के ऊपर PMI का मतलब
आपको बता दें अगर पीएमआई में आंकड़ा 50 से ऊपर रहता है तो उसका मतलब है कि क्षेत्र में विस्तार हुआ है जबकि 50 से नीचे रहने का मतलब इसमें गिरावट आई है. फरवरी महीने में यह क्षेत्र में मजबूत सुधार दर्शाता है.

धागा : इंस्टाफॉरेक्स कंपनी की तरफ से विश्लेषण

पोस्ट का विस्तार

वरिष्ठ सदस्य शामिल होने की तारीख दिसम्बर 2017 पोस्ट 1,991 धन्यवाद 2,157 धन्यवाद 5,627 टाइम्स इन 2,428 पोस्ट

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30 दिसंबर, 2021 को aud/usd के लिए पूर्वानुमान

बुधवार को, ऑस्ट्रेलियाई डॉलर ने एक और ऊपर की ओर वृद्धि की और फिर भी इसने एमएसीडी संकेतक लाइन को छूकर काम किया। सांख्यिकीय रूप से, एमएसीडी लाइन के विकास से संबंधित समान कठिनाइयों के बाद, 70% मामलों में इससे मूल्य उलट होता है। यह भविष्यवाणी करना मुश्किल है कि नए साल के मोड़ पर यह कैसे होगा, लेकिन विशुद्ध रूप से तकनीकी स्थिति एक स्पष्ट विकल्प नहीं बनाती है। मुख्य परिदृश्य अभी भी नीचे की ओर है - कीमत 0.7227 के स्तर से नीचे समेकित हो रही है, फिर 0.7171 और फिर 0.7065 तक गिर गई है।

AQI Update: दिल्ली-गुरुग्राम की हवा ‘बेहद खराब… नोएडा में ‘गंभीर’, निर्माण कार्यों पर रोक

AQI Update: दिल्ली-गुरुग्राम की हवा

दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण के साथ तत्काल प्रभाव से ग्रेडेड रिस्पॉन्स एक्शन प्लान (ग्रेप) का तीसरा चरण लागू कर दिया गया है. इसके साथ ही कई निर्माण कार्यों प्रतिंबध लगा दिया गया है. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक यह फैसला ग्रेप लागू करने के लिए जिम्मेदार उप समिति की बैठक में किया गया. साथ ही एनसीआर के सभी राज्यों को इसे तत्काल लागू करने के निर्देश दिये गए हैं. रिपोर्ट के मुताबिक दिल्ली-एनसीआर की हवा एक बार फिर गंभीर स्थिति में पहुंच गई है.

दिल्ली का औसत वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) आज (सोमवार) सुबह 372 दर्ज किया गया. वहीं नोएडा की हालत सबसे खराब है, यहां का एक्यूआई 444 तक पहुंच गया है. साथ ही गुरुग्राम का एक्यूआई 340 दर्ज किया गया है. बता दें 201 से 300 तक एक्यूआई को खराब, 301 से 400 को बेहद खराब और 401 से 500 तक को गंभीर की श्रेणी में माना जाता है.

निर्माण कार्यों पर लगा प्रतिबंध

दिल्ली की हवा चार नवंबर के बाद फिर गंभीर श्रेणी में पहुंच गई थी. हालांकि फिलहाल बहुत खराब की श्रेणी में है, लेकिन दोनों के बीच अंतक बहुत कम है. उस दौरान दिल्ली का एमएसीडी बीबी संकेतक की उपस्थिति औसत एक्यूआई 447 दर्ज किया गया था. वहीं हालात ठीक होने पर वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (सीएक्यूएम) ने 14 नवंबर को ग्रेप के तीसरे चरण की पाबंदियां हटाने का फैसला लिया था. वहीं अब 20 दिन बाद ही इसे फिर से लागू करना पड़ रहा है.

बता दें कि दिल्ली का 24 घंटे का एमएसीडी बीबी संकेतक की उपस्थिति औसत वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) रविवार को शाम चार बजे 407 रहा था. जीआरएपी एमएसीडी बीबी संकेतक की उपस्थिति के क्रियान्वयन के लिए उप समिति ने रविवार को क्षेत्र में वायु गुणवत्ता एमएसीडी बीबी संकेतक की उपस्थिति परिदृश्य के साथ-साथ मौसम संबंधी स्थितियों और दिल्ली के वायु गुणवत्ता सूचकांक के पूर्वानुमान की समीक्षा के लिए एक बैठक आयोजित की. उप समिति के अनुसार, एमएसीडी बीबी संकेतक की उपस्थिति पिछले 24 घंटों में हवा की गुणवत्ता में और गिरावट देखी गई. उप समिति एमएसीडी बीबी संकेतक की उपस्थिति ने और गिरावट को रोकने के प्रयास में निर्णय लिया कि जीआरएपी के चरण एक और दो के तहत सभी कार्यों के अलावा, चरण तीन के तहत सभी कार्यों को राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) में तत्काल प्रभाव से लागू किया जाएगा.

भारत की स्थिति

जीएचआई जिन चार पैमानों पर मापा जाता है उसमें से एक बच्चों में गंभीर कुपोषण की स्थिति को देखें तो भारत में इस बार उसे 19.3 फ़ीसदी पाया गया है जबकि 2014 में यह 15.1 फ़ीसदी था. इसका अर्थ है कि भारत इस पैमाने में और पिछड़ा है।

वहीं अगर कुल कुपोषण के पैमाने की बात की जाए तो वो भी काफ़ी बढ़ी है। ये पैमाना देश की कुल आबादी कितना खाना खाने की कमी का सामना कर रही है उसको दिखाता है।

इंडेक्स के मुताबिक़, भारत में 2018 से 2020 के बीच जहाँ ये 14.6 फ़ीसदी था वहीं 2019 से 2021 के बीच ये बढ़कर 16.3 फ़ीसदी हो गया है. इसके मुताबिक़ दुनिया में कुल एमएसीडी बीबी संकेतक की उपस्थिति 82.8 करोड़ लोग जो कुपोषण का सामना कर रहे हैं उसमें से 22.4 करोड़ लोग सिर्फ़ भारत में ही हैं।

मोदी सरकार पर निशाना

ग्लोबल हंगर इंडेक्स की रिपोर्ट सामने आने के बाद केंद्र की मोदी सरकार की आलोचनाएं भी शुरू हो गई हैं।

पूर्व वित्त मंत्री और कांग्रेस नेता पी. चिदंबरम ने ट्वीट किया एमएसीडी बीबी संकेतक की उपस्थिति है कि ‘माननीय प्रधानमंत्री कुपोषण, भूख और बच्चों में कुपोषण जैसे असली मुद्दों को कब देखेंगे।’

चिदंबरम ने आगे लिखा कि ‘भारत के 22.4 करोड़ लोगों एमएसीडी बीबी संकेतक की उपस्थिति एमएसीडी बीबी संकेतक की उपस्थिति को कुपोषित माना गया है। भारत की ग्लोबल हंगर इंडेक्स में रैंक लगभग बिल्कुल नीचे है, 121 देशों में 107वें स्थान पर।’

सीपीएम नेता और केरल के पूर्व वित्त मंत्री थॉमस इसाक ने ट्वीट किया है कि ‘भारत को 2022 में ग्लोबल हंगर इंडेक्स में 107वां स्थान मिला है। सिर्फ़ अफ़ग़ानिस्तान दक्षिण एशियाई देशों में हमसे नीचे है। साल 2015 में भारत की रैंक 93 थी। बच्चों के कुपोषण के पैमाने में भारत की स्थिति बिगड़ते हुए 19.3 फ़ीसदी हो गई है जो कि दुनिया में सबसे अधिक है।’

भारत दुनिया की पांचवीं सबसे बड़ी एमएसीडी बीबी संकेतक की उपस्थिति अर्थव्यवस्था

भारत सकल घरेलू उत्पाद यानी (जीडीपी) के मामले में ब्रिटेन को पछाड़कर विश्व की पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन चुका है।

ब्लूमबर्ग के आंकड़ों के मुताबिक भारत ने मार्च 2022 के अंत में ब्रिटेन को पीछे छोड़ दिया था। ब्लूमबर्ग ने ये निष्कर्ष अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ़) के आंकड़ों के आधार पर निकाला था।

ब्लूमबर्ग के मुताबिक इस साल मार्च के अंत में भारत की अर्थव्यवस्था 854.7 अरब डॉलर की थी जबकि ब्रिटेन की अर्थव्यवस्था 816 अरब डॉलर की थी।

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ब्लूमबर्ग के अनुमान के मुताबिक अगले कुछ सालों में भारत ब्रिटेन की अर्थव्यवस्था से और भी आगे निकल जाएगा।

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